नई पुस्तकें >> विदेश में हिंदी पत्रकारिता विदेश में हिंदी पत्रकारिताडॉ. जवाहर कर्नावट
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विदेशों में भी हिंदी पत्रकारिता का गौरवशाली इतिहास है, जो भारतवंशियों के दुख-सुख की आवाज बनी है।
भारत की हिंदी पत्रकारिता की तरह ही विदेशों में भी हिंदी पत्रकारिता का गौरवशाली इतिहास रहा है। विश्व के अनेक देशों में हिन्दी पत्रकारिता केवल कुछ पत्र-पत्रिकाओं के छपने-बँटने तक ही सीमित नहीं रही अपितु भारतवंशियों के दुख-सुख की आवाज भी बनी। इसलिए इसका इतिहास भारतवंशियों के संघर्ष पीड़ा और सुखद प्रतिष्ठापन तक के सफर का अहम दस्तावेज है।
सत्ताईस से अधिक देशों से पिछले 120 वर्षों में प्रकाशित 150 से अधिक पत्र-पत्रिकाओं की विषय-वस्तु को इस पुस्तक में विस्तार से व्याख्यायित किया गया है। प्रस्तुत पुस्तक की सामग्री को लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स 2023 में भी स्थान प्राप्त हुआ है। यह पुस्तक हिंदी पत्रकारिता जगत को नए वैश्विक क्षितिज की ओर से जाने का महत्वपूर्ण प्रयास है।
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